BJ News: जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी (JNU) में हॉस्टल फीस बढ़ेातरी को लेकर छात्रों का उग्र होता प्रदर्शन (Protest) सोमवार को संसद मार्च में बदल गया. छात्रों के इस मार्च को देखते हुए पुलिस ने संसद से सटे इलाकों में धारा 144 लागू करने के साथ ही बैरिकेडिंग कर दी है. इस बीच मानव संसाधन मंत्रालय ने तीन सदस्यीय समिति बनाई है, जो जेएनयू की सामान्य कार्यप्रणाली बहाल करने के तरीकों की सिफारिश करेगी. जेएनयू के लिए बनाई गई यह समिति छात्रों और प्रशासन से बातचीत करेगी तथा सभी समस्याओं के समाधान को लेकर सिफारिश सौंपेगी.
पुलिस ने कहा- नहीं जाने देंगे संसद
वहीं जेएनयू छात्रों के संसद मार्च को लेकर दिल्ली पुलिस के अधिकारियों ने कहा कि छात्रों को पार्लियामेंट तक नहीं जाने दिया जाएगा. संसद के आसपास धारा 144 लागू है. पुलिस सूत्रों के अनुसार जेएनयू के छात्रों को विवि परिसर के एक किलोमीटर के दायरे में ही रोकने की योजना है. हालांकि, उन्हें कहा पर रोका जाएगा यह अभी नहीं बताया गया है.
दफ्तर नहीं पहुंच सके लोग
इस दौरान ऑफिस जा रहे लोगों को सबसे ज्यादा परेशानी का सामना करना पड़ा. अरुणा आसिफ अली रोड पर पुलिस बैरिकेडिंग के चलते कई लोग जाम में फंस गए. यहां पर एक शख्स ने कहा कि जेएनयू के छात्रों का तो यह रोज का काम हो गया है. यह कहां तक सही है. हम लोगों को क्यों परेशान किया जा रहा है. वहीं, कुछ लोगों का यह भी कहना था कि पुलिस को पहले से बैरिकेडिंग कर के रास्ते डायवर्ट कर देना चाहिए था.
एंबुलेंस भी अटकी
वहीं, मुजफरनगर से मरीज को लेकर आ रही एंबुलेंस भी आसिफ अली रोड पर ही जाम में फंस गई. एंबुलेंस में गंभीर मरीज को स्पाइनल अस्पताल लेकर जाना था. बाद में स्थानीय लोगों की मदद से पुलिस बैरिकेडिंग हटाई गई और एंबुलेंस को जाने का रास्ता दिया गया, लेकिन इस काम में करीब 30 मिनट का समय लग गया.